* दिनांक - 08 जुलाई 2018 *, * दिन – रविवार *, * विक्रम संवत - 2075*, * शक संवत -1940*, * अयन – दक्षिणायन *, * ऋतु – वर्षा *, * मास – आषाढ़ *, * पक्ष – कृष्ण *, * तिथि - रात्रि 11:30
तक दशमी *, * नक्षत्र - सुबह 07:40
से भरणी *, * योग - रात्रि 02:31
तक धृति *, * राहुकाल - शाम 05:41 से 07:20 *, * सूर्योदय - 06:04 *, * सूर्यास्त - 19:23
*,
* दिशाशूल - पश्चिम दिशा में*
* व्रत पर्व विवरण -*
* विशेष - * रविवार के दिन
स्त्री-सहवास तथा तिल का तेल खाना और लगाना निषिद्ध है । ( ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-38 ) *, * रविवार के दिन मसूर की दाल, अदरक और लाल रंग का साग नहीं खाना
चाहिए।(ब्रह्मवैवर्त पुराण, श्रीकृष्ण खंडः 75.90
) *, * रविवार के दिन काँसे के पात्र में भोजन नहीं करना
चाहिए।(ब्रह्मवैवर्त पुराण, श्रीकृष्ण खंडः 75
) *, * स्कंद पुराण के अनुसार रविवार के दिन
बिल्ववृक्ष का पूजन करना चाहिए। इससे ब्रह्महत्या आदि महापाप भी नष्ट हो जाते हैं । *
* एकादशी व्रत के लाभ *
* 08 जुलाई 2018 रविवार को रात्रि 11:31
से 09 जुलाई 2018 सोमवार को रात्रि 09:27 तक एकादशी है। *, * विशेष 09 जुलाई 2018 सोमवार को एकादशी का व्रत (उपवास) रखें । *, * एकादशी व्रत के पुण्य के समान और कोई पुण्य नहीं है । *, * जो पुण्य
सूर्यग्रहण में दान से होता है,
उससे कई गुना अधिक पुण्य एकादशी के
व्रत से होता है । *, * जो पुण्य गौ-दान सुवर्ण-दान, अश्वमेघ यज्ञ से होता है, उससे अधिक पुण्य
एकादशी के व्रत से होता है । *, * एकादशी करनेवालों के पितर नीच योनि से मुक्त होते हैं और अपने
परिवारवालों पर प्रसन्नता बरसाते हैं ।इसलिए यह व्रत करने वालों के घर में
सुख-शांति बनी रहती है । *, * धन-धान्य, पुत्रादि की वृद्धि होती है । *, * कीर्ति बढ़ती है,
श्रद्धा-भक्ति बढ़ती है, जिससे जीवन रसमय
बनता है । *, * परमात्मा की प्रसन्नता प्राप्त होती
है ।पूर्वकाल में राजा नहुष, अंबरीष, राजा गाधी आदि जिन्होंने भी एकादशी का व्रत किया, उन्हें इस पृथ्वी
का समस्त ऐश्वर्य प्राप्त हुआ ।भगवान शिवजी ने नारद से कहा है : एकादशी का व्रत
करने से मनुष्य के सात जन्मों के पाप नष्ट हो जाते हैं, इसमे कोई संदेह
नहीं है । एकादशी के दिन किये हुए व्रत, गौ-दान आदि का अनंत गुना पुण्य होता
है । *,
*एकादशी के दिन करने योग्य*
* एकादशी को दिया जला के विष्णु सहस्त्र नाम पढ़ें .......विष्णु
सहस्त्र नाम नहीं हो तो १० माला गुरुमंत्र का जप कर लें l अगर घर में झगडे
होते हों, तो झगड़े शांत हों जायें ऐसा संकल्प करके विष्णु सहस्त्र नाम पढ़ें
तो घर के झगड़े भी शांत होंगे l
*,
*एकादशी के दिन ये सावधानी रहे*
* महीने में ` 15-15 दिन में एकादशी आती है
एकादशी का व्रत पाप और रोगों को स्वाहा कर देता है लेकिन वृद्ध, बालक और बीमार
व्यक्ति एकादशी न रख सके तभी भी उनको चावल का तो त्याग करना चाहिए एकादशी के दिन जो चावल खाता है... तो
धार्मिक ग्रन्थ से एक- एक चावल एक- एक कीड़ा खाने का पाप लगता है...ऐसा डोंगरे जी
महाराज के भागवत में डोंगरे जी महाराज ने कहा * l
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