Thursday, 21 January 2021

NT24 News : दिल्ली धरने में शामिल होने वाले कर्मचारियों को बर्खास्त कर....

दिल्ली धरने में शामिल होने वाले कर्मचारियों को बर्खास्त कर किसानों की आवाज दबाने का प्रयास न करें कैप्टन -मीत हेअर

बर्खास्त कर्मचारीओ को बहाल न करने पर 'आप करेगी कैप्टन का घेराव

मोदी और कैप्टन मिलकर किसान आंदोलन को कुचलना चाहते हैं

एन टी 24 न्यूज़

विनय कुमार शर्मा

चंडीगढ़

किसान आंदोलन में शामिल होने वाले पंजाब सरकार के कर्मचारियों को बर्खास्त किए जाने का मामला सामने आने पर आम आदमी पार्टी ने मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह पर निशाना साधा है। पार्टी मुख्यालय से जारी बयान में पार्टी के विधायक और राज्य युवाध्यक्ष गुरमीत सिंह मीत हेयर ने कहा कि दिल्ली धरने में शामिल होने के कारण कैप्टन प्रशासन ने फाजिल्का जिले के मनरेगा कर्मचारी संघ के जिला महासचिव अमृतपाल सिंह को कुछ दिन पहले बर्खास्त कर दिया। अमृतपाल सिंह का कसूर सिर्फ इतना था कि किसान परिवार से ताल्लुक रखने के कारण वे दिल्ली बॉर्डर पर चल रहे किसान आंदोलन में अपने किसान भाईयों-बहनों का समर्थन करने के लिए धरने में शामिल हुए थे। उन्होंने कहा कि कई कर्मचारी संगठनों के सदस्यों ने जब भारी संख्या में बर्खास्तगी के विरोध में डीसी कार्यालय के बाहर धरने पर बैठे तब बर्खास्तगी का मामला प्रकाश में आया। उन्होंने सवालिया लहजे में आगे कहा कि इससे पता चलता है कि कैप्टन ने किसान आंदोलन के समर्थकों की आवाज दबाने के लिए अपने अधिकारियों को कितनी छूट दे रखी है। आखिर किसके इशारे पर ये पदाधिकारी आंदोलन में शामिल होने वाले कर्मचारियों को बर्खास्त कर रहे हैं? आप नेता ने कैप्टन सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि अगर बर्खास्त किए गए कर्मचारी को प्रशासन जल्द बहाल नहीं करती है तो आम आदमी पार्टी कैप्टन के घर का घेराव करेगी। मीत हेयर ने कहा कि सरकारी कर्मचारियों को बर्खास्त कर कैप्टन सरकार उन्हें किसान आंदोलन में शामिल होने से रोक रही है। तमाम तरह के सरकारी हथकंडे अपनाकर कैप्टन प्रशासन सरकारी कर्मचारियों को डरा रही है, ताकि वे आंदोलन में शामिल न हो सके। हजारों कर्मचारी इस भीषण ठंड में जान जोखिम में डालकर दिल्ली की सडक़ों पर संघर्ष कर रहे अपने राज्य के किसान भाईयों-बहनों का समर्थन करने और उनका हौसला बढ़ाने के लिए दिल्ली धरना स्थल पर जाना चाहते हैं, लेकिन बर्खास्तगी के डर से वे दिल्ली नहीं जा पा रहे हैं। कैप्टन सरकार द्वारा लगातार की जा रही इस तरह की आंदोलन विरोधी गतिविधियों से स्पष्ट संकेत मिलता है कि कैप्टन आंदोलन को कमजोर करने की पूरी कोशिश कर रहे हैं और पंजाब के किसानों की आवाज को दबाने के लिए सत्ता की ताकत का इस्तेमाल कर रही है। उन्होंने कैप्टन पर हमला बोलते हुए कहा, यह बर्खास्तगी इस बात का सबूत है कि कैप्टन, मोदी-शाह के साथ मिलकर किसान आंदोलन को कुचलना चाहते हैं। कैप्टन इतने परिवारवादी व्यक्ति हैं कि सिर्फ अपने बेटे को ईडी से बचाने के लिए इस ऐतिहासिक किसान आंदोलन को कुचलने का प्रयास कर रही मोदी सरकार का साथ दे रहे हैं। लेकिन कैप्टन को यह याद रखना चाहिए कि यह आंदोलन इतिहास की किताब में सुनहरे अक्षरों में लिखा जाएगा और इस आंदोलन को कुचलने वालों का साथ देने वालों में उनका नाम भी इतिहास के पन्नों पर काले अक्षरों में लिखा जाएगा।


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