भारत विकास परिषद (पूर्व) करेगा 12 जरूरतमंद लड़कियों का सामूहिक
विवाह
एन टी 24 न्यूज़
विनय कुमार
चंडीगढ़
समाज सेवा उन्मुख, गैर-राजनीतिक, सामाजिक-सांस्कृतिक व स्वैच्छिक संगठन - भारत विकास परिषद (बीवीपी-ईस्ट)
चंडीगढ़ द्वारा 10 फरवरी (रविवार) को सेक्टर 20-ए के कम्युनिटी सेंटर में 10 वां सामूहिक सरल विवाह
समारोह आयोजित किया जायेगा । यह घोषणा आज यहां प्रेस क्लब में एक संवाददाता
सम्मेलन में संगठन के वरिष्ठ पदाधिकारियों ने की । बीवीपी-ई के प्रोजेक्ट
डायरेक्टर, नवनीत गौड़ ने कहा, 'जरूरतमंद
लड़कियों का सामूहिक विवाह, भले ही वे किसी भी जाति, पंथ या धर्म की हों, पूरी भव्यता के साथ कराया
जायेगा । बारात या वर पक्ष का स्वागत प्रात: 9 बजे होगा ।
सुबह का नाश्ता 9.30 बजे और दोपहर का भोजन 1 बजे कराया जायेगा । वैवाहिक अनुष्ठान 12 बजे शुरू
होंगे । परिषद द्वारा राष्ट्रीय स्तर पर यह योजना चलायी जा रही है । ट्राइसिटी के
जाने-माने सामाजिक कार्यकर्ता एवं गायक सोनू सेठी इस अवसर पर गुरदास मान के गीत
प्रस्तुत करेंगे और उनकी टीम वृक्षारोपण भी करेगी ।' उल्लेखनीय
है कि बीवीपी-ई सक्रिय रूप से समुदाय के लिए सामाजिक विकास कार्यक्रमों और
कल्याणकारी गतिविधियों का आयोजन करती रहती है । गरीब युवा लड़कियों और लडक़ों का
सामूहिक विवाह आयोजन पिछले कई वर्षों से कई शाखाओं और राज्यों द्वारा नियमित रूप
से कराया जा रहा है । अशोक गोयल, परिषद अध्यक्ष ने कहा,
'इस प्रेस वार्ता को आयोजित करने के पीछे विचार यह था कि न केवल
जरूरतमंद लड़कियों के सामूहिक विवाह का विवरण प्रदान किया जाये, बल्कि नव-विवाहित जोड़ों को आशीर्वाद देने के लिए आम जनता को भी समारोह
में भाग लेने के लिए आमंत्रित किया जाये । हम सभी लोगों को निमंत्रण दे रहे हैं ।' यहां यह उल्लेख करना उचित होगा कि बीवीपी-ई देशभक्ति, राष्ट्रीय एकता और अखंडता की भावना को बढ़ावा देते हुए, सामाजिक, शैक्षणिक, नैतिक,
राष्ट्रीय और आध्यात्मिक सभी क्षेत्रों में देश के विकास के लिए
समर्पित है । बीवीपी-ई के को-ऑर्डिनेटर, भूषण ठाकुर ने कहा,
'दहेज की बढ़ती मांग और शादी के जश्न की अजीबोगरीब शैलियों के साथ,
बेटी की शादी कम आर्थिक क्षमता वाले माता-पिताओं के लिए भारी बोझ
बनती जा रही है । इस तरह के कार्यों को करने और जरूरतमंद परिवारों के सामूहिक
विवाह आयोजित करने के लिए, परिषद ऐसे परिवारों का चयन करती
है जिनके पास वित्तीय साधन नहीं हैं । सैकड़ों दुल्हे और दुल्हन व उनके रिश्तेदार
ऐसे समारोहों में भाग लेते हैं । जानकारी दी गयी कि बीवीपी-ई की विचारधारा पांच
सरल पहलुओं पर आधारित है: कम्युनिटी आउटरीच (संपर्क),
समर्थन (सहयोग), प्रशिक्षण (संस्कार), सेवा और प्रतिबद्धता (समर्पण) । सचिव प्रवेश गुप्ता ने कहा, 'पिछले साल की तरह इस साल भी, बीवीपी के मानदंडों के
तहत, नए घर को शुरू करने के लिए जरूरी सभी आवश्यक सामान जैसे
कि डबल बेड, स्टील के बक्से, बर्तन और
कपड़े व अन्य चीजें प्रत्येक जोड़े को उपहार में दी जाएंगी । शाखा के सदस्यों और
अन्य प्रतिष्ठित निवासियों ने इसके लिए उदारतापूर्वक योगदान किया है । 'अशोक घई, सचिव (वित्त) ने कहा, 'जरूरतमंद लडक़ों और लड़कियों के लिए सामूहिक विवाह के आयोजन के अलावा,
हम रक्तदान शिविर, वृक्षारोपण अभियान, नि:शुल्क रक्त और चिकित्सा जांच शिविर, छात्राओं के
लिए मुफ्त परामर्श सत्र जैसी गतिविधियां भी आयोजित करते हैं। इसके अलावा, तीज और एक शाम भोले के नाम जैसे सामाजिक व सांस्कृतिक कार्यक्रम भी नियमित
रूप से आयोजित किए जाते हैं । 'बीवीपी-ई ने दो सरकारी
स्कूलों को भी अपनाया है और स्कूली बच्चों के लिए नि:शुल्क परामर्श सत्र आयोजित
किये जाते हैं ।
पदाधिकारियों ने बताया कि अगले साल वे एक बड़ा सामूहिक विवाह करना चाहते हैं,
जिसमें और अधिक जोड़े शामिल हों। उन्होंने लोगों से अपील की कि जो
लोग आर्थिक तंगी के कारण अपने बेटे या बेटी की शादी करने में असमर्थ हैं, वे मदद के लिए परिषद से संपर्क कर सकते हैं ।
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